जब प्रदीप कशप्पा नायकर, कॉन्ट्रैक्ट कंडक्टर केर्नाटक स्टेट रोड ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन (केएसआरटीसी) ने मंगळूरु के कोंजै पुलिस स्टेशन में दर्ज मामले के तहत अणुपम अग्रवाल शहर पुलिस कमिश्नर की निगरानी में गिरफ्तारी का सामना किया, तो यह घटना कई नागरिकों को चौंका गई। यह घटना 23 अप्रैल 2025 को मुडिपु‑स्टेट बैंक मार्ग पर, एक केएसआरटीसी बस में एक सो रही महिला यात्रिनी के सिर को अपने गोद में ले लेती हुई पाई गई, और एक सहयात्री द्वारा 30‑45 सेकंड का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। तुरंत राजेश शेट्टी, वरिष्ठ डिविजनल कंट्रोलर, ने 10:15 ए.एम. पर नायकर को निलंबित कर दिया, जबकि रामलिंग रैड्डी केर्नाटक ट्रांसपोर्ट मंत्री ने इस घटना को "केएसआरटीसी की छवि को धूमिल करने वाला" कहते हुए दण्डित करने की मांग की।

पृष्ठभूमि और सार्वजनिक सुरक्षा की चुनौतियां

केर्नाटक में सार्वजनिक परिवहन की सुरक्षा को लेकर पहले से ही कई चिंताएँ बनी हुई हैं। 3 अप्रैल 2025 को बेंगलुरु के सुद्दगुंटेपैलिया में हुई एक समान घटना, महिलाओं के खिलाफ सार्वजनिक स्थानों में बढ़ती हिंसा की तस्वीर पेश करती है। केएसआरटीसी, जो 1961 से राज्य की प्रमुख बस सेवाएं प्रदान कर रहा है, अपनी 15,000 से अधिक वाहनों और 5,000 कर्मचारियों के साथ रोज़ाना 1.2 मिलियन से अधिक यात्रियों को ले जाता है। इस विशाल नेटवर्क में सुरक्षा प्रोटोकॉल और सिविल सेंसिटिविटी का पालन अनिवार्य है, परंतु नायकर की इस घटना ने इस भरोसे को ठोकर दी।

घटनाक्रम का विस्तृत विवरण

घटना के दिन, शाम 6:30 के करीब, बुजुर्ग महिला और एक युवा महिला दोनों ही बस में सफेद साड़ी पहने हुए थीं। युवा महिला नींद में डूबी हुई थी और उसकी सिर नायकर की गोद पर आ गया। साथ में बैठा एक यात्रि ने यह दृश्य फोन पर रिकॉर्ड किया, और तुरंत ही वीडियो को ट्विटर और फेसबुक पर अपलोड कर दिया। वीडियो में स्पष्ट रूप से दिखता है कि नायकर, जो बगल में खड़ा था, धीरे‑धीरे महिला की ओर झुके और अनुचित रूप से उसे सहलाने लगा। इस फुटेज ने सामाजिक नेटवर्क पर 5‑लाख से अधिक बार देखा गया और बहुत ही तेज प्रतिक्रिया उत्पन्न की।

प्राधिकरणों की त्वरित प्रतिक्रिया

10:00 ए.एम. पर, इनविडियली की कॉपी केएसआरटीसी मंगळूरु डिवीजन हेडक्वार्टर तक पहुंची। राजेश शेट्टी ने 15 मिनट के भीतर नायकर को निलंबित कर दिया और एक लिखित नोटिस जारी किया। उसी दिन शाम को, कोंजै पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज हुआ और अणुपम अग्रवाल ने बताया कि FIR भारतीय न्याय संहिता (BNS) के सेक्शन 74 (महिला के साथ अपमानजनक बल) और सेक्शन 75 (सेक्सुअल हैरासमेंट) के तहत दर्ज किया गया है। नायकर को उसी शाम को 15 दिन की ज्यूडिशियल कस्टडी में रखा गया।

विरोध और समर्थन की आवाज़ें

सामाजिक संगठनों ने इस घटना को लेकर बड़ी आवाज़ उठाई। "वुमेन एंटी‑हैजर्ड" समूह ने मांग की कि सभी केएसआरटीसी बसों में सीसीटीवी कैमरे लगवाने का आदेश दिया जाए, जबकि केएसआरटीसी के प्रवक्ता ने कहा कि कंपनी पहले से ही 2023 में 70% बसों में कैमरा स्थापित कर चुकी है और शेष में जल्द ही पूरा कर लेगी।

एक वीरोहवर्तन पर, कई महिला यात्रियों ने कहा कि अब वे सार्वजनिक बसों में यात्रा करते समय अधिक सतर्क रहेंगे और अपने साथ व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (जैसे पर्सनल अलार्म) ले जाने की सोच रहे हैं।

प्रभाव और आगे के कदम

यह घटना न केवल केएसआरटीसी की इमेज को ख़राब कर रही है, बल्कि महिलाओं की यात्रा सुरक्षा के लिए नए नियमों को तेज़ी से लागू करने की आवश्यकता को भी उजागर कर रही है। केर्नाटक सरकार ने अब सभी कॉन्ट्रैक्टेड कर्मचारियों पर एक नई अंडर‑ग्रेज़ुअल प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू करने का वादा किया है, जिसमें सेक्सुअल हैरासमेंट से निपटने की तकनीकें और कानूनी जागरूकता शामिल होगी।

आगामी 30 दिनों में केएसआरटीसी का आंतरिक अनुशासनात्मक जांच पूरा होने की उम्मीद है, जिससे नायकर की नौकरी समाप्ति या अन्य अनुशासनात्मक कार्रवाई तय होगी। साथ ही, नायकर के खिलाफ चल रहे आपराधिक मुकदमे की अगली सुनवाई 10 मई 2025 को नियोजित है। इस बीच, केएसआरटीसी ने कहा है कि वह सभी 22,000 कर्मचारियों के लिए अनिवार्य सुरक्षा प्रशिक्षण और अतिरिक्त सीसीटीवी कैमरा स्थापित करने की योजना बना रहा है।

भविष्य की चुनौतियां और संभावनाएँ

केएसआरटीसी को अब अपने यात्रियों के भरोसे को फिर से जीतने के लिए तेज़ कदम उठाने होंगे। विशेषज्ञ मानते हैं कि यदि इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए नीतिगत बदलाव और सख्त कार्यवाही नहीं की गई, तो सार्वजनिक परिवहन के उपयोग में गिरावट आएगी, जिससे ट्रैफिक जाम और पर्यावरणीय प्रभाव भी बढ़ सकता है।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

क्या इस घटना से केएसआरटीसी में सभी बसों में सीसीटीवी लगेगी?

केएसआरटीसी ने बताया कि 2023 में 70% बसों में कैमरे लग चुके हैं, और अब शेष 30% को दो महीने के भीतर स्थापित किया जाएगा। महिला सुरक्षा संगठनों ने पूर्ण 100% कवरेज की मांग की है।

प्रदीप कशप्पा नायकर पर कौनसे आरोप लगे हैं?

उन्होंने भारतीय न्याय संहिता (BNS) के सेक्शन 74 (महिला के साथ अपमानजनक बल) और सेक्शन 75 (सेक्सुअल हैरासमेंट) के तहत FIR दर्ज करवाया गया है, जिससे उन्हें अधिकतम तीन साल तक की सजा और जुर्माना हो सकता है।

केएसआरटीसी के वरिष्ठ अधिकारी ने इस मामले में क्या कदम उठाए?

सिनियर डिविजनल कंट्रोलर राजेश शेट्टी ने वीडियो प्राप्त होते ही 15 मिनट में नायकर को निलंबित किया और एक आंतरिक जांच आदेशित की।

केर्नाटक सरकार ने इस घटना पर क्या प्रतिक्रिया दी?

ट्रांसपोर्ट मंत्री रामलिंग रैड्डी ने केएसआरटीसी को अनुशासनात्मक कार्रवाई करने और भविष्य में ऐसे मामलों को रोकने के लिए कड़ी नीति लागू करने का आदेश दिया।

भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए कौन-कौन से कदम उठाए जा सकते हैं?

विशेषज्ञ सुझाव देते हैं कि सभी कंडक्टर व ड्राइवरों को अनिवार्य लैंगिक सुरक्षा प्रशिक्षण, बसों में लाइव सीसीटीवी, और यात्रियों को ऑनबोर्ड हेल्पलाइन नंबर उपलब्ध कराया जाना चाहिए। साथ ही, सार्वजनिक जागरूकता अभियानों से महिलाओं को सुरक्षित रहने के उपायों की जानकारी मिल सकती है।

टिप्पणि (1)

Tuto Win10
  • Tuto Win10
  • अक्तूबर 17, 2025 AT 21:42 अपराह्न

क्या कहूँ, इस घटना ने सबको हिला कर रख दिया!!! केएसआरटीसी का नाम अब भरोसे के साथ नहीं, बल्कि डर के साथ जुड़ गया है!!! इस तरह की हररकते को रोका जाना ज़रूरी है, नहीं तो हमारे सार्वजनिक परिवहन का भविष्य ही नश्ते में जा सकता है!!! देखो, नायकर ने केवल एक महिला को ही नहीं, बल्कि पूरे समाज की मर्यादा को भी ठेस पहुँचाई है!!!

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