ऑस्ट्रेलिया से इटली: जो बर्न्स का अनोखा सफर

ऑस्ट्रेलिया के लिए 23 टेस्ट खेलने वाले जो बर्न्स ने साल 2024 में सबको चौंकाते हुए इटली की राष्ट्रीय क्रिकेट टीम को जॉइन कर लिया। उनका इटली के लिए खेलने का अधिकार उनकी मां की तरफ से मिला, जिनकी जड़ें इटली में थीं। बहुतेरे लोग हैरान थे—एक अनुभवी टेस्ट ओपनर, जो कभी ब्रिसबेन के गाबा स्टेडियम में बल्लेबाजों पर कहर बरपाते थे, अब यूरोप की असोसिएट टीम को संभाल रहे हैं।

सबसे दिलचस्प बात यह रही कि जो बर्न्स ने टीम जॉइन करने का फैसला अपने दिवंगत भाई की याद में लिया था। डेब्यू मैच के दिन उन्होंने 85 नंबर की जर्सी पहनकर भाई को ट्रिब्यूट दिया। जून 2024 में लक्समबर्ग के खिलाफ इटली के लिए डेब्यू करते हुए उनका नया सफर शुरू हुआ।

शानदार प्रदर्शन और नए मुकाम

जैसे ही बर्न्स ने मैदान पर कदम रखा, उनका असर नजर आने लगा। यूरोप सब-रीजनल क्वालीफायर फाइनल में, बर्न्स ने सिर्फ 55 गेंदों में नाबाद 108 रन ठोक दिए। उनके इस एक शतक ने इटली को रोमानिया पर शानदार जीत दिलाई और टीम को रिजनल फाइनल्स तक पहुंचा दिया। ऐसी पारियां शायद ही किसी ने इटली की नीली जर्सी में देखी हों।

उनकी लीडरशिप क्वालिटी भी जल्द सामने आ गई। दिसंबर 2024 में इटली क्रिकेट फेडरेशन ने उन्हें टीम का कप्तान बना दिया। फेडरेशन के प्रेसिडेंट, फाबियो मारबिनी ने साफ कहा कि बर्न्स की प्रोफेशनल सोच और समर्पण, इटली क्रिकेट को नई ऊंचाइयाँ दिलाने के लिए जरूरी है।

जो बर्न्स खुद भी इमोशनल रहे—यह मौका उनके लिए परिवार के पुराने कनेक्शन को ताजा करने जैसा था। उन्होंने खुलकर कहा कि इटली में क्रिकेट की असीम संभावनाएं हैं, खासकर जब ओलंपिक जैसे बड़े मंच पर भी अब क्रिकेट लौट रहा है।

इटली की टीम अब 2026 टी20 वर्ल्ड कप के यूरोपियन रिजनल क्वालीफायर्स में डच और स्कॉटिश टीमों जैसी मज़बूत टीमों को चुनौती देने की तैयारी में है। बर्न्स के अनुभव और ऊर्जा की मदद से टीम ने कई नई रणनीतियाँ बनानी शुरू कर दी हैं।

पर सफर इतना आसान नहीं—इटली की टीम को अकसर टमाटर के खेतों जैसी अनोखी जगहों पर प्रैक्टिस करनी पड़ती है। लेकिन अब बर्न्स ने ऐसे इनिशिएटिव शुरू किए हैं, जिनसे युवाओं को ऑस्ट्रेलिया में ट्रेनिंग के मौके मिलेंगे। इससे दोनों देशों के क्रिकेट में गहरी साझेदारी का रास्ता खुला है।

उनके आगमन ने इटली क्रिकेट में न केवल जैसे नई जान फूंक दी है, बल्कि छोटे क्रिकेट खेलने वाले देशों के सामने एक मिसाल भी रख दी है कि जो सपना देखे, उसे हकीकत में बदलना नामुमकिन नहीं। अगले दो साल क्रिकेट प्रेमियों के लिए रोमांच से भरे रहनेवाले हैं—क्या बर्न्स की कप्तानी में इटली पहली बार टी20 वर्ल्ड कप में पहुंच पाएगा?

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